0 Ratings
0 Reviews
376 Views
इस पुस्तक में हिन्दी के सिद्धहस्त लेखक पं० गोकुलचंद्र शर .... Read More
इस पुस्तक में हिन्दी के सिद्धहस्त लेखक पं० गोकुलचंद्र शर्मा ने अत्यन्त भावपूर्ण ढंग से जगज्जननी सीता-माता के अशोकवन में वंदी- जीवन का चित्र उपस्थित किया है। इस विषय पर हिन्दी में पर्याप्त सामग्री उपलब्ध है; लेकिन यह पुस्तक अपने ढंग की एक ही है। बहुत ही प्रवाहपूर्ण और प्रांजल भाषा एवं शैली में विद्वान् लेखक ने विषय का प्रतिपादन किया है। ऐसा सजीव और भावना-मय चित्रण अन्यत्र कम ही देखने में श्राता है।
Sr | Chapter Name | No Of Page |
---|---|---|
1 | आत्म-निवेदन | 4 |
2 | अशोकवन | 4 |